9 चमत्कारी घरेलू उपाय जो पेट के अल्सर को जड़ से खत्म कर देंगे Home Remedies for Stomach Ulcer in HIndi
अल्सर को जड़ से खत्म करने के लिए क्या करें? मुंह के छालों की ही तरह पेट में छाले होना भी अत्यंत पीड़ादायक होते हैं। इनकी सबसे बड़ी वजह पित्तवर्धक आहार का अधिक सेवन करना है। आपको लग रहा होगा कि छाला ही तो है अपने-आप ठीक हो जाएगा लेकिन यदि इसका समय पर उपचार न किया जाए तो ये खतरनाक हो सकता है। आज हम ऐसे घरेलू नुस्खे (Home Remedies for Stomach Ulcer in Hindi) जानेंगे जिससे हम पेट के अल्सर को जड़ से खत्म कर देंगे।
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पेट में अल्सर होना क्या है?
प्रकृति ने हमारे पेट के अंदर जो खाने की थैली है उसमें एसिड लगातार बनता रहता है और ये एसिड भोजन को पचाने के काम आता है। इसी खाने की थैली की सतह के ऊपर म्यूकस की एक लेयर होती है, जिस कारण एसिड खाने की थैली की सतह को नुकसान नहीं पहुंचा पाता। लेकिन यदि एसिड ज्यादा बनने लगे तो सतह फट जाती है और अल्सर जैसी समस्या उत्पन्न हो जाती है। इसे गैस्ट्रिक अल्सर भी कहा जाता है।
पेट में अल्सर के कारण और लक्षण
आइये अब जानते हैं किन कारणों से पेट में अल्सर होता है और इसके लक्षण क्या हैं –
स. | कारण | लक्षण |
1 | पेट में अधिक एसिड बनने के कारण | पेट में जलन होना ज्यादातर नाभि से ऊपर के हिस्से में |
2 | हेलिकोबैक्टर इन्फेक्शन की वजह से | पेट में दर्द होना |
3 | पेन किलर दवाओं का अधिक सेवन करने से | पेट में भारीपन और तनाव होना |
4 | ज्यादा मात्रा में शराब, तम्बाकू का सेवन करने से | जी मचलाना |
5 | स्टेरॉइड्स और खून पतला करने वाली दवाओं के सेवन से | उल्टी होना |
6 | भूख कम होना | |
7 | वजन कम होना | |
8 | बार-बार डकारे आना | |
9 | मल का रंग बदल जाना |
अल्सर को जड़ से खत्म करने के उपाय (Home Remedies for Stomach Ulcer in Hindi)
आइये अब जानते हैं घरेलू उपाय जो पेट के अल्सर को ठीक करने में बहुत उपयोगी हैं –
1 चम्मच मेथी के बीजों को 1 गिलास पानी में 5 मिंट तक अच्छे से उबालें। आप देखेंगे कि पानी का रंग बदल गया है, फिर इसे ठंडा होने के लिए रख दें। तत्पश्चात इसे छानकर एक चम्मच शहद डालकर इसका सेवन करें। ये पेट के अल्सर की घरेलू दवा अत्यंत लाभकारी है। दिन में एक बार इसका सेवन करें।
पेट में अल्सर पित्त बढ़ने के कारण होता है। इस वजह से मिटटी की पट्टी को दिन में 3 से 4 बार पेट पर लगाया जाता है जिससे पेट में छाले ठीक होते हैं।
सात दिनों तक सिर्फ लिक्विड डाइट ही लेनी चाहिए जैसे बेल का शर्बत, गाजर का रस, सेब का रस और पत्ता गोभी का रस। इससे छाले अपने-आप हील होने लगते हैं।
ठंडे पानी में कपड़ा भिगोकर उसे अच्छे से निचोड़ लें, फिर उसे पेट पर अच्छे से बाँध लें। इसके बाद एक सूखा कपड़ा लेकर उसे भी पेट पर बाँध दें। ऐसा दिन में 2 बार करें, 15 दिनों में पेट के छालों में फर्क दिखने लगेगा।
15-20 ml कच्चे दूध को आधे कप पानी में मिला लें। इसे दिन में एक बार पीएं। यह पेट के छालों को ठीक करने में बहुत लाभदयक है। ध्यान रहे कि दूध 15-20 ml से ज्यादा न लें नहीं तो अपच हो जायेगी।
अविपत्तिकर चूर्ण और मुक्ताशुक्ति चूर्ण किसी अच्छे आयुर्वेदिक चिकित्सक की सलाह से लें और इसके साथ योग और प्राणायाम अवश्य करें।
अल्सर में क्या-क्या खाना चाहिए
गैस्ट्रिक अल्सर होने पर निन्मलिखित खान-पान रखना चाहिए। इसे काफी लाभ मिलेगा-
- एंटी-ऑक्सीडेंट्स रिच फूड्स –
- सेब, संतरा, केला जरूर खाएं
- हरी पट्टेदात सब्जियां जैसे पालक, मेथी भी गैस्ट्रिक अल्सर में बहुत उपयोगी हैं
- टमाटर, चकुंदर भी फायदेमंद हैं
- लाल शिमला मिर्च अल्सर को ठीक करने में मदद करता है
2. प्रो-बायोटिक्स –
- दही, छाछ का सेवन जरूर करें
- सप्लीमेंट के रूप में मेडिकल स्टोर से लेकर भी सेवन कर सकते हो
- खीरा, गाजर, शकरकंदी का सेवन भी उपयोगी है
3. एंटी-बैक्टीरियल फूड्स –
- हल्दी का सेवन अवश्य करें
- लहसुन में एंटी-बैक्टीरियल गुण हैं। इसका सेवन अवश्य करें
- ब्रोकोली में sulforaphane नाम का एक केमिकल पाया जाता है जो गैस्ट्रिक अल्सर को ठीक करने में मददगार है।
पेट में अल्सर का पता कराने के लिए कौनसे टेस्ट होते हैं
निम्नलिखित टेस्ट द्वारा चिकित्सक पता करते हैं कि आपके पेट में अल्सर है कि नहीं –
- Barium X Ray
- Stool Test
- Breath Test
- Blood Test
- Endoscopy
डॉक्टर के पास कब जाना चाहिए
देखिये यदि निम्नलिखित समस्या उत्त्पन्न हो गयी है तो तुरंत चिकित्सक के पास जाएँ –
- उल्टी करते हुए खून आना
- काला मल आना
- अचानक से वजन कम हो जाना
- भट तेज पेट में दर्द होना
- अधिक थकान और कमजोरी महसूस होना
अधिकतर पूछे जाने वाले प्रश्न
प्रश्न – गैस्ट्रिक अल्सर के दर्द को कैसे पहचानें?
उत्तर – ज्यादातर गैस्ट्रिक अल्सर से होने वाला दर्द खाली पेट होता है। जैसे ही आप कुछ खा लेंगे तो आपको आराम मिलेगा। ये लगातार होने वाला दर्द है और कई बार बहुत तेज दर्द होता है।
प्रश्न – पेप्टिक अल्सर और गैस्ट्रिक अल्सर में क्या अंतर है?
उत्तर – गैस्ट्रिक उल्सर पेप्टिक अल्सर का ही एक हिस्सा है। गैस्ट्रिक अल्सर खाने की थैली में होने वाला एक घाव है।
पेपेटिक अल्सर में गैस्ट्रिक अल्सर भी आता है और साथ ही डुएडेनल अल्सर भी आता है। ये छोटी आंत के ऊपर वाले हिस्से में होता है।
प्रश्न – अल्सर को ठीक होने में कितना समय लगता है?
उत्तर – देखिये ये निर्भर करता है कि आपका अल्सर कितना बड़ा है और कितना पुराना है। आयुर्वेद और एलोपैथिक चिकित्सा में अलग-अलग समय लगता है। ये आप पर है कि आप कौनसी चिकित्सा पद्यति अपनाते हैं।
प्रश्न – अल्सर में क्या परहेज करना चाहिए?
उत्तर – आयुर्वेदिक चिकित्सा में अल्सर में 2 हफ्तों तक बिल्कुल लिक्विड आहार दिया जाता है और इसमें भी दूध नहीं दिया जाता क्यूंकि दूध अपच करता है।
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